सावन सोमवार को Mahakaleshwar मंदिर में भस्म आरती के दौरान उमड़े श्रद्धालु
दिल्ली । मप्र में स्थित उज्जैन के प्रसिद्ध महाकालेश्वर मंदिर में सावन माह के 5वें सोमवार को श्रद्घालुओं की भारी भीड़ उमड़ी। यहां पर सुबह-सुबह भगवान शिव की भस्म आरती पूरे रीति-रिवाज के साथ की गई। गौरतलब है कि भस्म आरती यहां का एक प्रसिद्ध अनुष्ठान है और यह सुबह लगभग 3:30 से 5:30 बजे के बीच ब्रह्म मुहूर्त के दौरान किया जाता है। भस्म आरती करने से पहले भोले नाथ का अभिषेक किया गया। इसे लिए पहले मंदिर के पुजारियों ने भगवान शिव को दूध, दही, शहद, चीनी और फलों का रस अर्पित किया। इसके बाद, भगवान को चंदन, अबीर, गुलाल, सूखे मेवे और अन्य प्रसाद से सजाया गया। भगवान शिव की पूजन के लिए अनेक शहरों में सोमवार को शिवालयों में लोग दर्शनार्थ पहुंचे। इसके साथ ही कई भक्तों ने इधर नई दिल्ली के चांदनी चौक में प्रसिद्ध गौरी-शंकर मंदिर में शिव देवता की पूजा भी की।
सावन महीने को शिव की आरधना का मास भी कहा गया है। सावन जिसे श्रावण के नाम से भी जाना जाता है, यह हिंदू चंद्र कैलेंडर का पांचवां महीना है, और इसे सबसे पवित्र महीनों में से एक माना जाता है। इस अवधि के दौरान प्रत्येक सोमवार को व्रत रखने और भगवान शिव का आशीर्वाद लेने के लिए अत्यधिक शुभ समय माना जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, श्रावण मास भगवान शिव का पसंदीदा महीना माना जाता है। ऐसा माना जाता है कि इस अवधि में भगवान शिव की पूजा करने से व्यक्ति को अपनी परेशानियों से तुरंत राहत मिलती है। इस साल सावन का अधिक मास 4 जुलाई से 31 अगस्त तक 59 दिनों तक चलेगा।
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